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सबकी सविता भाभी ❤

टेलीग्राम चैनल का लोगो savitabhabhikahaniya — सबकी सविता भाभी ❤
चैनल का पता: @savitabhabhikahaniya
श्रेणियाँ: वयस्क सामग्री (18+)
भाषा: हिंदी
ग्राहकों: 8.02K
चैनल से विवरण

🔥🥵सविता भाभी की कहानी या फ्री में सबसे लिए 🥵🔥

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नवीनतम संदेश 10

2022-06-10 18:30:57 भाभी मेरी छाती पर झुकी थीं, तो मैं बारी बारी से उनके दोनों चूचों को दबाने और चूसने लगा.
चुदाई की फक फक फक की आवाज से पूरा बाथरूम गूंजने लगा.
भाभी अब जोर जोर से चिल्लाने लगीं- आंह ओम जोर जोर से करो … मैं झड़ने वाली हूं.
मैं और जोर जोर से भाभी को चोदने लगा.
कुछ ही पलों में भाभी झड़ गईं और उनकी चूत ने मेरे लंड को कामरस से नहला दिया.
अब भाभी की गीली चूत को चोदने में बहुत मज़ा आ रहा था. कुछ देर बाद मैं भी झड़ने वाला था.
भाभी ने कहा- ओम इस बार तुम मेरे मुँह में झड़ो … मैं तुम्हारा सारा वीर्य पी जाना चाहती हूं.
मैं जैसे ही झड़ने वाला था, मैंने अपना लंड चूत से निकाल कर भाभी के मुँह में दे दिया. मैं झड़ गया और मेरा सारा वीर्य भाभी मुस्कुराती हुई पी गईं.
फिर हम दोनों एक साथ स्नान करने लगे और एक दूसरे को नहलाने लगे.
मैं भाभी की बड़ी सी चौड़ी गांड पर साबुन लगा रहा था कि मुझे उनकी चौड़ी गांड पर दिल आ गया.
भाभी की मखमली गांड देख कर मेरा आवारा लंड फिर से खड़ा हो गया.
मैंने भाभी से कहा- मुझे आपकी गांड मारनी है.
पहले तो भाभी ने मना किया, फिर राजी हो गईं.
पर वो बोलीं- धीरे करना, मुझे गांड में लेने की आदत नहीं है.
मैंने थोड़ा बॉडी आयल मेरे लंड पर और थोड़ा भाभी की गांड पर लगाया, फिर अपना लंड पकड़ कर भाभी की गांड में सैट कर दिया.
लंड का सुपारा गांड के फूल को सहलाने लगा.
भाभी को मजा आने लगा, उनकी गांड ने लुपलुप करना शुरू कर दिया.
मैंने एक हाथ से बॉडी आयल की शीशी से भाभी की गांड में टपकाना शुरू कर दिया और उनसे कहा- भाभी, जरा मशीन में तेल डालने दो … इसको ढीली करो.
भाभी ने बेफ़िक्र होकर गांड ढीली की उसी समय मैंने एक जोर का धक्का दे मारा.
भाभी की गांड खुली थी, इस वजह से एक बार में ही पूरा लंड अन्दर चला गया.
भाभी दर्द के मारे तड़प उठीं और उनकी आंखों से भी आंसू निकल आए.
उनकी गांड से थोड़ा सा खून भी निकल आया.
मैंने अपनी मुट्ठी में भाभी के बालों को पकड़ा और उनकी गांड में धक्का मारने लगा.
अब भाभी को भी मज़ा आने लगा था.
वो भी साथ दे रही थीं और अपनी गांड को आगे पीछे आगे पीछे कर रही थीं.
बीच बीच में आवाज निकाल रही थीं- ओ यस ओम … और जोर से पेलो मजा आ गया.
इस तरह मैंने 20 मिनट तक भाभी की गांड मारी और मैं झड़ने वाला हो गया था.
मैंने भाभी से कहा- मैं झड़ने वाला हूं.
भाभी ने कहा- परवाह मत करो ओम … तुम अपने गर्म और गाढ़े वीर्य से मेरी गांड के छेद को भर दो.
मैंने भाभी की गांड के छेद को वीर्य से भर दिया.
इसके बाद हम दोनों नहा कर बाहर आ गए.
भाभी लंगड़ा कर चल रही थीं और मुस्कुरा रही थीं.
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2022-06-10 18:30:57 भाभी जोर जोर से सांस ले रही थीं और वो पूरी तरह गर्म हो चुकी थीं.
उन्होंने पूरी तरह से खुद को मुझे सौंप दिया था.
मैं धीरे धीरे भाभी की नाभि को चूमते हुए नीचे आ गया और उनकी ट्रिम की हुई झांटों से सजी उनकी मक्खन चूत को चाटने लगा.
कामरस से भाभी की चूत पूरी तरह से गीली हो चुकी थी.
मैं अपनी जीभ से भाभी की बुर के दाने को चाटने और कुरेदने लगा.
इससे भाभी और ज्यादा उत्तेजित हो गईं और मेरे बालों को नौंचने लगीं; मेरे माथे को जोर से दबा कर अपनी चूत में दबाने लगीं.
भाभी बोलने लगीं- आंह जानू … मुझे और मत तड़पाओ … प्लीज़ अब जल्दी से चोद दो मुझे.
अब मैं भी पूरी तरह नंगा हो गया और मेरा लंड भाभी के सामने अजगर सा फुंफकारने लगा.
मैंने उन्हें इशारा किया तो भाभी नीचे बैठ गईं और उन्होंने अपने मुँह में मेरा लंड ले लिया.
भाभी मस्त होकर मेरा लंड चूसने लगीं.
भाभी की गर्म जीभ के स्पर्श से मेरा लंड और ज्यादा सख्त हो गया.
मैंने भाभी की दोनों चुचियों के बीच में लंड लगा दिया और उनके चूचों को चोदने लगा.
भाभी आंख बन्द करके बार बार बोल रही थीं- आह मेरी जान … जल्दी से चोद दो मुझे … नहीं तो मैं मर जाऊंगी.
मैंने भाभी को बाथरूम में फर्श पर ही लेटा दिया और अपना लंड भाभी की चूत के द्वार पर रख दिया.
मैं अपने लंड के सुपारे को भाभी की बहती चूत की फांकों में रगड़ने लगा.
भाभी गांड उठाने लगीं.
उसी समय मैंने एक जोर का धक्का दे मारा. मेरा आधा लंड भाभी की चूत में अन्दर घुस गया.
एकदम से लंड घुसा तो भाभी की चीख निकल गयी.
मैं नहीं रुका और मैंने दुबारा धक्का दे मारा.
इस बार मेरा पूरा लंड चूत के अन्दर चला गया.
भाभी की चूत बहुत टाईट थी. भाभी की आंख से आंसू निकल आए.
ये देख मैंने भाभी के गाल और माथे को चूमते हुए पूछा- क्या हुआ?
भाभी ने कहा- तुम्हारा लंड बहुत बड़ा है … मेरी बुर फट जाएगी, जरा धीरे करो. तुम्हारा भैया का लंड इसका आधा भी नहीं है.
अब मैं भाभी के होंठों को चूसते हुए हल्के हल्के धक्के मारने लगा.
पूरा बाथरूम फच फच फच की मधुर आवाज से गूंज रहा था.
कुछ देर बाद भाभी भी पूरी तरह साथ देने लगी थीं; उनकी दोनों टांगें हवा में उठ गई थीं.
भाभी बहुत जोर जोर से आह आह कर रही थीं और अपने दोनों पैरों से मेरे कमर को जकड़ कर गांड उठा रही थीं.
भाभी मुझसे बोल रही थीं- आंह मेरी जान … बड़ा मजा आ रहा है … और जोर जोर से चोदो मुझे … मेरी चूत फाड़ दो … आंह जिन्दगी में इतना मज़ा मुझे कभी नहीं आया.
इस तरह हम दोनों ने काफी देर तक न्यूड सेक्स का मजा लिया.
फिर मैंने भाभी को डॉगी बनाकर चोदना शुरू किया.
भाभी बाथरूम में बेसिन पकड़ कर कुतिया बनी हुयी थीं और मैं पीछे से भाभी की चूत में धक्का दिए जा रहा था.
इस आसन में चुदाई से भाभी की खरबूजे जैसी चूचियां मस्त झूल रही थीं.
यह सीन देख मेरी कामोत्तेजना और बढ़ रही थी.
मैं दोनों हाथों से भाभी की चुचियों को बारी बारी से मसल रहा था.
भाभी की सफेद चूचियां ज्यादा मसलने के कारण लाल हो चुकी थीं.
मैं भाभी को ताबड़तोड़ चोदे जा रहा था और भाभी की चूत भी पूरी तरह गीली हो चुकी थी जिससे उन्हें चोदने में और ज्यादा मज़ा आ रहा था.
भाभी जोर जोर से सिसकारियां भरने लगीं और कहने लगीं- आंह ओम … और जोर जोर से चोदो मेरे राजा … मैं झड़ने वाली हूं.
मैं भी फ्रंटियर मेल की स्पीड से भाभी को चोदने लगा.
फिर हम दोनों एक साथ झड़ गए.
मैं भाभी की चूत में ही झड़ गया था. भाभी की चूत को मैंने अपने गर्म वीर्य से नहला दिया था.
कुछ देर तक हम एक दूसरे के साथ चिपके रहे, फिर मैं भाभी को चूमने लगा और उनके मम्मों को मसलने लगा.
मैं तेज तेज हांफ रहा था और उनकी बगलों को सूंघ रहा था.
मुझे उनका पसीना इतना नशा दे रहा था कि मैं अपनी जीभ से उनकी कांख के बालों को चूसने लगा.
साथ ही साथ अपने हाथों से मैं उनके मम्मों को दबाने लगा.
एक स्तन के निप्प्ल को मैं मींजने लगा.
पसीना से भीगी बगल की महक मुझे फिर से कामांध करने लगी थी.
लगातार चूमने और चाटने के कारण मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया.
भाभी लंड खड़ा देख कर बोलीं- इस बार मैं तुम्हें चोदूंगी.
मैं लंड खड़ा किए हुए फर्श पर लेट गया और भाभी मेरी तरफ मुँह करके अपनी दोनों जांघों को खोल कर मेरे लंड के ऊपर बैठ गईं.
मेरा पूरा लंड एक बार में चूत की जड़ के अन्दर भाभी की बच्चेदानी तक घुस गया.
भाभी ने कामुकता के साथ आह की आवाज निकाली और मेरे लंड को अपनी बुर में हजम कर लिया.
लंड लेकर भाभी ऊपर नीचे, ऊपर नीचे होने लगीं और ‘आह आह उई मां मैं मर गयी …’ की आवाजें निकालने लगीं.
भाभी जोर जोर से आहें भरने लगी थीं.
ऐसा लग रहा था कि मेरा लंड भाभी की चूत को चीर रहा था.
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2022-06-10 18:30:57 न्यूड सेक्स कहानी मेरे पड़ोस में रहने वाली भाभी की चुदाई की है. उसके भरे पूरे जिस्म को देख मैं मुठ मारता था, उसे चोदना चाहता था. मेरी इच्छा कैसे पूरी हुई?
दोस्तो, मेरा नाम ओमप्रकाश है और ये मेरी पहली न्यूड सेक्स कहानी है.
मेरी उम्र 29 साल है और मेरा कद 5 फुट 9 इंच का है.
मैं हर रोज जिम करता हूं जिसके कारण मेरा शारीरिक सौष्ठव भी मस्त है.
कोई भी लड़की मुझे देखते ही मेरे बारे में सोच कर अपनी चूत गीली कर लेती है.
मैं राँची में जॉब करता हूं और किराए के मकान में रहता हूं.
मेरे पड़ोस में एक मस्त भाभी रहती हैं. उनका नाम अनिमा भाभी (काल्पनिक नाम) है.
भाभी की फिगर की बात कहूँ तो उनका 38-32-40 का मदमस्त बदन देख कर किसी का भी सोता हुआ लंड तुरंत खड़ा हो जाएगा.
भाभी का भरा भरा कातिल फिगर और ऊपर से उनका दूध जैसा गोरा बदन आंह… उनके बारे में सोचते ही मैं उत्तेजित हो जाता हूं.
दो बच्चे की मां होने के बाद भी भाभी की चूचियां एकदम सुडौल और तनी हुई हैं.
मैं हमेशा सोचता रहता हूं कि भाभी को कैसे चोदूं. भाभी के नाम से मैंने हजार बार से भी ज्यादा बार मुठ मारी होगी.
एक दिन मेरी किस्मत खुल गई.
दरअसल हमारे यहां हमेशा पानी की दिक्कत रहती है.
पिछले चार दिन से भाभी के बाथरूम में पानी नहीं आ रहा था.
इस कारण से भाभी हर रोज मेरे बाथरूम में नहाने आ रही थीं.
एक दिन भाभी बाथरूम में झुक कर कपड़े धो रही थीं. उस समय भाभी के दोनों बड़ी बड़ी चूचियां ऐसे तनी हुई दिख रही थीं … मानो वो भाभी की नाईटी को फाड़ कर बाहर आ जाना चाह रही हों.
इस नजारे को देखते ही मेरा लंड एकदम रॉड बन गया.
तभी अचानक से भाभी की नजरों ने मेरी नजरों को भांप लिया और उनको पता चल गया कि मैं उन्हें निहार रहा हूं.
फिर मेरा खड़ा लंड देख कर भाभी शर्मा गईं और जल्दी जल्दी नहाकर मेरे घर से चली गईं.
मैं भी बाथरूम में आ गया और उस दिन मैंने भाभी के नाम से एक बार नहीं, तीन बार मुठ मारी. तब जाकर मेरा लंड शान्त हो पाया.
दूसरे दिन भाभी कल के जैसे ही बाथरूम में झुक कर कपड़े धो रही थीं और उसी समय मुझे मूतने जाना था.
मैंने उनसे कहा, तो भाभी उठ कर खड़ी हो गईं और मैं उनके बाजू से अन्दर जाने लगा.
जगह कम होने के वजह टॉयलेट में अन्दर जाते वक़्त भाभी की गांड के बीच मेरा लंड रगड़ गया. भाभी की कोमल गांड के स्पर्श से मेरा लंड खड़ा हो गया.
भाभी सीधी खड़ी हो गईं और शर्म के मारे लाल हो गईं, फिर वो बाहर आ गईं.
मैं दिन भर सोचता रहा कि भाभी को कैसे चोदा जाए. जब तक मैं भाभी की चूत न चोद लूं, तब तक मेरे लंड को आराम नहीं मिलने वाला था.
दूसरे दिन मैं जब नहा रहा था, उसी वक्त मुझे किसी की आवाज सुनाई दी- ओम जरा इधर आइए ना!
ये आवाज भाभी की थी.
मैंने जाकर देखा कि मेरे दूसरे बाथरूम में भाभी पूरी तरह नंगी बैठी थीं और बाहर की तरफ पीठ करके भाभी नहा रही थीं.
भाभी ने मुझसे कहा- ओम … जरा मेरी पीठ को रगड़ दो … मेरा हाथ पीठ तक नहीं पहुंच रहा है.
ये सुनकर मेरे तो मानो होश ही उड़ गए थे.
मैंने मन ही मन सोचा कि आज तो जन्नत का दीदार हो गया.
मैं धीरे धीरे भाभी की नंगी पीठ पर हाथ फेरने लगा.
आह … कितनी कोमल और चिकनी पीठ थी.
उनकी त्वचा एकदम रेशम सी लग रही थी.
भाभी की पीठ में हाथ फेरते ही मेरे तन बदन में करंट दौड़ गया था और मेरा लंड बिजली के खंभे जैसा हो गया.
भाभी मुझसे कहने लगीं- बड़ा अच्छा लग रहा है ओम … मेरी पूरी पीठ को ऐसे ही सहलाते रहो, बड़ा अच्छा लग रहा है.
भाभी की पीठ को सहलाते सहलाते मैं खुद को रोक नहीं पाया और मैंने अपना हाथ भाभी की बगल से आगे ले जाकर उनकी एक चूची को धीरे से प्यार से दबा दिया.
भाभी कुछ नहीं बोलीं और आंख बन्द करके मादक सिसकारी भरने लगीं.
इससे मेरी भी हिम्मत बढ़ गयी.
मैंने दोनों हाथों से भाभी की बड़े बड़े चूचों को हौले हौले दबाना शुरू कर दिया.
बीच बीच में मैं भाभी के निप्पलों को भी मसल रहा था.
इससे भाभी और ज्यादा उत्तेजित होने लगीं.
मेरा लंड लोहे की रॉड से भी ज्यादा सख्त हो गया था जो भाभी की पीठ को चुभ रहा था.
भाभी ने सिसकारी लेते हुए मुझे ‘आई लव यू ओम …’ बोला.
इससे मेरे तनबदन में जोश सा भर गया और मैंने भाभी को अपनी ओर घुमा लिया.
अगले ही पल मैंने भाभी के गुलाबी होंठों को चूम लिया.
भाभी ने भी प्रतिक्रिया देते हुए मेरे होंठों को चूम लिया.
मैं भाभी की जीभ को चूसने लगा.
हम दोनों ही बड़ी बेताबी से एक दूसरे की जीभ को चूसने लगे.
फिर मैं भाभी के गालों को चूमते हुए उनकी गर्दन को चूसने लगा.
भाभी के फुटबॉल जैसे दो बड़े बड़े चुचों को बारी बारी से चूसने और चूमने लगा.
इससे भाभी उत्तेजना के चरम शिखर पर पहुंच गई थीं.
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2022-06-10 18:30:57
पड़ोसन भाभी के साथ नहाते वक़्त मस्त चुदाई
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2022-06-10 10:31:06 अब एक परीक्षक पलंग पर लेट गया.
उसने लड़की को लंड पर बैठकर उचकने को कहा.
दूसरे परीक्षक ने लड़की की गांड में लंड डाल दिया.
काफ़ी देर तक इस लड़की की चुदाई चलती रही.
फिर दोनों परीक्षक एक दूसरे की तरफ पैर करके लेट गए और लड़की को बोला गया कि वो दोनों लंड एक साथ जोड़कर अपनी चूत में ले.
लड़की ने जब आना-कानी की, तब उसको बेल्ट से पीटा जाने लगा.
मजबूर होकर लड़की को दोनों लंड अपनी चूत में लेने पड़े.
लड़कियां दर्द से चीख रही थीं और लंड पर उचक रही थीं.
फिर लड़कियों को गांड में दो लंड लेने को मजबूर किया गया.
इस सबमें रात के एक बज गए थे.
माइक पर घोषणा हुई- सभी नहा कर खाना खा लें. गांड और चूत की बर्फ से सिकाई करें. गांड चूत के छेद में मलहम लगा लें और सो जाएं. पूरा आराम कर लें. कल परीक्षा सुबह 10 बजे शुरू होगी. सुबह नहा कर नाश्ता खा लें.
अगले दिन सुबह 10 बजे सभी सीखने वाले नंगे होकर गले में बेल्ट पहनकर हॉल में आ गए.
ट्रेनर ने छत से लटकती रस्सी उनके गले के बेल्ट में बांध दी और हाथ पीछे करके बांध दिए.
ट्रेनर- आज सबकी चुदाई बिना कंडोम के होगी. सभी परीक्षकों की मेडिकल रिपोर्ट आ गयी हैं. किसी को कोई बीमारी नहीं है.
सभी 16 परीक्षक आ गए. उसमें 8 पुरुष और 8 स्त्री थे.
सभी आंटी के असली ग्राहक थे.
चार स्त्री परीक्षकों ने एक लड़के की गले की रस्सी खोली, उसको खींच कर लाई और उसे घुटने पर बैठकर अपनी चूत चाटने को कहा.
बाकी 4 स्त्री परीक्षकों ने दूसरे लड़कों के साथ ऐसा ही किया. बाकी दो लड़के बंधे खड़े थे.
फिर 4 पुरुष परीक्षकों ने एक लड़की की गले की रस्सी खोली, उसे बाल पकड़कर लाए और घुटनों पर बैठकर उनका लंड चूसने को कहा.
बाकी 4 पुरुष परीक्षकों ने दूसरी लड़की के साथ ऐसा ही किया. बाकी दो लड़कियां बंधी खड़ी थीं.
लड़कों को सेक्स बढ़ाने की दवाई दी गयी थी. उनके लंड खड़े थे.
काफ़ी देर चूत चाटने के बाद लड़कों को पीठ के बल लिटाकर उनको पेनिस रिंग पहना दिया गया.
चारों स्त्री परीक्षक उनके लंड के ऊपर बैठकर बारी बारी उनको चोदने लगीं.
उसके बाद चारों ने स्ट्रॅप ऑन डिल्डो पहनकर उनकी गांड मारी.
एक, लड़के की गांड मार रही थी. दूसरी उसके मुँह पर बैठकर चूत चुसवा रही थी, उनके चुचे निप्पल को दबा और काट रही थी.
दो घंटे चुदाई चली.
लड़कों का बुरा हाल हो गया था.
लड़कियों का भी बुरा हाल था. दबाने और काटने से उनके चूचे और निप्पल लाल हो गए थे; उनके मुँह, गांड और चूत वीर्य से भर गए थे.
परीक्षकों के लंड काफ़ी बड़े और मोटे थे. उनकी भी चुदाई दो घंटे चली.
आधा घंटा आराम के बाद परीक्षकों ने बाकी दो लड़के, दो लड़कियों को खोला, उनकी भी वैसी ही चुदाई हुई.
अब 3 बज गए थे.
रात को फिर से उनकी सामूहिक चुदाई हुई.
लड़कों/लड़कियों के मुँह, चूत और गांड वीर्य से भर गए.
माइक पर घोषणा हुई- सभी आराम करें. कल शाम को ट्रेनिंग के रिज़ल्ट बताए जाएंगे. वो कार्यक्रम शाम 6 बजे शुरू होगा. सभी अच्छे कपड़े पहनकर, सजधज कर आएं.
अगले दिन शाम को सीखने वाले ट्रेनिंग सेंटर के बरामदे में आ गए. बरामदे में कुर्सियां और स्टेज था.
ट्रेनर, आंटी से सीखे हुए 16 परीक्षक सभी आए. आंटी स्टेज पर आई और बोली कि सभी बैठ जाएं.
आंटी- सभी सीखने वालों को बधाई, सभी पास हो गए हैं. तुम लोग चाहो तो एक बिल्डिंग में आकर रह सकते हो. उस बिल्डिंग में दो बेड रूम के फ्लैट हैं. एक फ्लैट में दो जन रहेंगे. उस बिल्डिंग में यहां से सीखे लोग ही रहते हैं. बिल्डिंग में ग्राहक को लाना मना है. भाड़ा देना पड़ेगा.
हम सब सुन कर सोच रहे थे.
आंटी- उस बिल्डिंग में सब एक दूसरे की सहायता करते हैं. यदि किसी को कुछ पूछना हो तो पूछ सकते हैं.
एक ने पूछा- पुलिस हमको परेशान करे, तो क्या करना चाहिए?
आंटी- हम लोग किसी को ज़बरदस्ती इस काम में नहीं लाते, किसी को अगवा नहीं करते और पुलिस को खुश रखते हैं. कभी कभी मेरे बोलने के बाद, तुम लोगों को बिना पैसे लिए पुलिस के लोगों को खुश करना पड़ेगा. ज़रूरत पड़ने पर पुलिस को पैसे भी देते हैं.
सभी आर्ट ऑफ़ सेक्स सीखने वालों ने आपस में सलाह की और बिल्डिंग में रहने का फ़ैसला आंटी को बता दिया.
आंटी- एक और बात, यदि कोई यह काम छोड़कर कोई दूसरा काम करना चाहे, तो ट्रेनिंग का पैसा चुकाने के बाद यह काम छोड़ सकता है. उसे बिल्डिंग छोड़नी होगी.
दूसरे दिन सभी को आंखों पर पट्टी बांधकर बंद गाड़ी में बिठाया गया और नयी बिल्डिंग में छोड़ा गया.
सभी अपने सामान पुराने घर से ले आए और बिल्डिंग में रहने लगे.
आंटी और उसके आदमी का फोन आने पर वह लोग ग्राहक के पास जाते. अच्छी कमाई करने लगे.
कभी कभी आंटी बताती कि आज का ग्राहक बिना कंडोम के चुदाई करेगा, उसकी मेडिकल जांच हो गयी है.
मैं भी काफी खुश रहने लगा था.
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2022-06-10 10:31:06 सभी 16 परीक्षक आठ बंधे लोगों को बेल्ट, छड़ी से मारने लगे.
चेहरे को छोड़कर, बाकी शरीर के हर भाग पर मार पड़ रही थी.
सभी हां में सिर हिला रहे थे. गॅग के कारण कोई चीख नहीं पा रहा था.
काफ़ी देर पिटाई हुई.
फिर सभी के हाथ खोल दिए गए और कुत्ते की तरह खड़ा किया गया.
परीक्षक- अब तुमको कुत्ते की तरह चलना है. जब बांए चूतड़ पर मार पड़े तो चलना है. दाहिने चूतड़ पर मार पड़ने पर रुक जाना है. पीठ पर मार पड़ने पर घूम जाना है.
आठ परीक्षकों ने आर्ट ऑफ़ सेक्स सीखने वालों के गले की बेल्ट की रस्सी पकड़ी. बाकी आठ परीक्षक चूतड़ पर मारकर कभी चलाते कभी रोकते.
वो बोल रहे थे- क्यों रंडी, मज़ा आ रहा है?
सभी हां में सिर हिलाते.
कुछ ही देर में सब थक गए थे.
परीक्षक- अब सब अपने मुँह के गॅग निकालो और कुत्तों की तरह ही खड़े रहो.
परीक्षक लोग सोफे पर बैठकर कोल्ड ड्रिंक पीने लगे.
एक परीक्षक ने पूछा- रंडियो, प्यास लगी है क्या?
सभी ने हां में सिर हिलाया.
परीक्षकों ने गिलास लिए और उसमें मूतने लगे.
परीक्षक- आज तुमको यही पीना है.
सभी ने गिलास ले लिए और बैठकर मूत्र पी लिया.
फिर 16 परीक्षक कमर के नीचे के कपड़े उतारकर बैठ गए.
परीक्षक- अब सब लोग कुत्ते की तरह चलकर आओ और हमारे लंड और चूत चूसो.
सीखने वाले, पुरुष परीक्षक की जांघ, गोटी, लंड चूमकर खड़ा करके, उस पर कंडोम लगाकर चूसने लगे. स्त्री परीक्षक की चूत पर डेंटल डॅम लगाकर चूसने लगे.
परीक्षक- अब सब लोग अपने अपने बिस्तर पर पीठ के बल लेट जाओ. घड़ी पर टाइम देखो, आंख पर पट्टी बांधो, अपने घुटने मोड़कर छाती की तरफ ले जाकर पकड़ लो … और हमारा इंतजार करो.
सीखने वाले उसी अवस्था में इंतजार कर रहे थे. जब कोई अपने पैर सीधे करता, उसको बेल्ट की मार पड़ती.
आंख बंद होने से समय का पता नहीं चल रहा था, उनको ऐसा लग रहा था मानो कितने घंटे बीत गए थे.
आधा घंटा बाद हर लड़के के पास दो पुरुष परीक्षक और हर लड़की के पास दो स्त्री परीक्षक पहुंचे.
उनकी आंख की पट्टी खोल दी, सभी ने देखा सिर्फ़ आधा घंटा ही हुआ था.
पुरुष परीक्षकों ने कंडोम पहनकर लड़कों से कहा- आज तुम्हारी गांड फाड़ चुदाई होगी.
एक गांड मारने लगा, दूसरा मुँह चोदने लगा. लड़के दर्द होने का अभिनय करने लगे.
फिर लड़कों को कुत्तों की तरह खड़ा करके चोदा गया.
एक परीक्षक लेट गया, लड़कों को उनका लंड गांड में डाल कर बैठा दिया गया.
दूसरे परीक्षक ने अपना लंड गांड में डाल दिया, उनकी गांड में दो दो लंड घुसने से अब सीखने वाले लड़कों को सच में दर्द होने लगा था.
वो जोर जोर से चीख रहे थे.
पूरे 2 घंटे चुदाई चली.
स्त्री परीक्षकों ने स्ट्रॅप ऑन डिल्डो पहना, लड़कियों की गांड और चूत एक साथ चोदी.
कभी कभी गांड, चूत में दोनों डिल्डो डालकर चोदा गया.
लड़कियां दर्द से चीख रही थीं.
दो घंटे बाद चुदाई रुकी.
दोपहर के दो बज गए थे. माइक पर घोषणा हुई- सभी सीखने वाले नहा कर हल्का खाना खा लें, थोड़ा आराम करें. शाम को 6 बजे अगली परीक्षा होगी.
फिर 5.30 बजे सभी सीखने वालों को काम वासना बढ़ाने की दवा दी गयी.
शाम 6 बजे सभी हॉल में आ गए.
एक एक लड़के को दो दो स्त्री परीक्षकों ने दबोच लिया. लड़कों के कपड़े फाड़ कर नंगा कर दिया, उनको कभी पीटा, कभी उनके निप्पल मरोड़े, उनकी गोटी, लंड दबाए गए.
लड़कों के लंड खड़ा करके, उसमें पेनिस रिंग लगा दिया गया, जिससे लड़के झड़ न सकें.
लड़कों को पलंग पर पीठ के बल लिटाकर उनके हाथ पैर फैलाकर पलंग से बांध दिया.
लंड पर कंडोम लगा दिया.
एक स्त्री परीक्षक उनके लंड पर बैठकर उनको चोदने लगी. दूसरी उनके मुँह पर बैठकर अपना चुत चटवा रही थी.
लड़कों को सांस लेने में मुश्किल हो रही थी.
बारी बारी स्त्री परीक्षक अपनी जगह बदल रही थी, लंड से उतरने के बाद उनके लंड पर चांटा मारा जाता.
लड़कों के लंड दुख रहे थे, पर दवाई और पेनिस रिंग के कारण लड़के झड़ नहीं पा रहे थे.
काफ़ी देर बाद लड़कों का लंड मुरझा गया.
अब स्त्री परीक्षकों ने स्ट्रॅप ऑन लगाकर लड़कों की गांड मारी.
कभी कभी स्त्री परीक्षक, लड़कों की गांड में दो डिल्डो के साथ डालकर चोदतीं.
लड़के दर्द से चीखने लगते.
एक एक लड़की को दो दो पुरुष परीक्षकों ने दबोच लिया. उनको चूमने लगे, स्तन, गांड दबाने लगे. उनके कपड़े फाड़ कर नंगी कर दिया.
परीक्षक कंडोम पहने थे.
एक परीक्षक पलंग पर बैठ गया और बोला- साली रंडी … चल लंड चूस.
लड़की झुककर लंड चूसने लगी. दूसरे परीक्षक ने कंडोम पर के-वाइ जैल लगाया और निर्ममता से लड़की की गांड और चूत चोदने लगा.
परीक्षक अपनी जगह बदल कर बारी बारी लंड चुसवा रहे थे और गांड, चूत चोद रहे थे. वो लड़की के गले तक लंड डाल रहे थे.
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2022-06-10 10:31:06 आर्ट ऑफ़ सेक्स प्लेज़र सीखी मैंने एक आंटी के सेक्स कोचिंग सेंटर में! एक महीने की ट्रेनिंग में हमें क्लाइंट को मजा देने के तरीके सिखाये गए. उसके बाद 5 दिन हमारे टेस्ट चले.
साथियो … सेक्स कहानी के पिछले भाग
ग्राहक को खुश कैसे करें चुदाई में
में आपने पढ़ा था कि कॉल बॉय/कॉल गर्ल बनने की ट्रेनिंग के बाद हम आठ लोगों की 5 दिन की परीक्षा होने वाली थी.
अब आगे आर्ट ऑफ़ सेक्स प्लेज़र:
पहली परीक्षा का दिन आ गया.
सुबह कसरत के बाद हॉल में हुई, जहां 8 पलंग थे, जिन पर रात को हम आठों सोते थे.
हॉल में परीक्षण के लिए 4 लड़के और 4 लड़कियां आए.
ट्रेनर ने सबका परिचय कराया.
परीक्षा लेने आए आठों, आंटी से सीख कर अपना काम सफलता पूर्वक कर रहे थे.
ट्रेनर बोला- लड़कों को, परीक्षा लेने आई लड़कियों को अपना ग्राहक समझकर उनको खुश करना है … और लड़कियों को, परीक्षा लेने आए लड़कों को अपना ग्राहक समझकर उनको खुश करना है.
आठ जोड़े बन गए, एक दूसरे को चूमने लगे.
सीखने वाले/वाली जब अपने होंठ जीभ चूसने देते, तो परीक्षक बताते कि होंठ, जीभ चूसने देने से कैसे बचना है.
फिर काम क्रीड़ा शुरू हुई.
ग्राहक की ज़रूरत समझ कर उसको कैसे खुश करना है, इसका अभ्यास कराया गया.
जहां ग़लती होती, परीक्षक बताते.
धीरे धीरे सभी के कपड़े उतरने लगे. ट्रेनर सब देख रहा था.
अब लंड/चूत चूसने की बारी थी. जब सीखने वाले/वाली बिना कंडोम/डेंटल डॅम के लंड/ चूत चूसने की कोशिश करते, तो परीक्षक उनको रोकते.
उसके बाद अलग अलग आसनों में चुदाई शुरू हुई.
सीखने वाले/ वालियों को अभिनय करना था कि उन्हें मज़ा आ रहा है, साथ ही ग्राहक के मज़े का ख्याल रखना था.
दो सीखने वाले लड़के जल्दी झड़ गए.
चुदाई के बाद सब लड़कों को बताया गया कि यदि तुमको झड़ना रोकना है तो चुदाई रोककर लंड को बाहर निकालो, लंड की जड़ के पास कस कर पकड़ लो और लंबी लंबी सांस लो, झड़ना टल जाएगा.
शाम को 4 बजे फिर से परीक्षा शुरू हुई.
ट्रेनर बोला- ग्राहक क्या कहता है, वो ध्यान से सुनो, उसके अनुसार अभिनय/व्यवहार करो.
नये आठ जोड़े बने.
परीक्षक पुरुषों ने सीखने वाले लड़कों के साथ जोड़ी बनाई. परीक्षक स्त्रियों ने सीखने वाली लड़कियों के साथ.
अब गे, लेस्बियन की परीक्षा शुरू हुई.
परीक्षक पुरुषों ने लड़कों से कहा कि आज तुम्हारी गांड फाड़ देंगे, कुछ दिन ठीक से चल नहीं पाओगे.
परीक्षक स्त्रियों ने स्ट्रॅप ऑन डिल्डो पहना और लड़कियों से कहा- आज तुम्हारी गांड और चूत फाड़ देंगे.
यह सुनकर सीखने वाले लड़के, लड़कियां मुस्कुराने लगे.
परीक्षक ने कहा- तुम लोगों ने ठीक से नहीं सुना, हम क्या कह रहे थे. जब ग्राहक गांड चूत फाड़ने की बात कहता है, तुम लोगों को डरने का अभिनय करना है. चुदाई के समय दर्द हो रहा है, ऐसा दिखाना है.
सब सीखने वाले लड़के लड़कियों ने डरने का अभ्यास किया. चुदाई के समय तड़फे और दर्द हो रहा है, ऐसा जताया.
रात के खाने के बाद सभी की मेकअप करने की परीक्षा हुई.
लड़कियों को नौकरानी, कोरियर वाला लड़का, इलेक्ट्रीशियन लड़के आदि का मेकअप करने को कहा गया.
उन्हें लड़कों के समान चलना बोलना था.
लड़कों को लड़की का मेकअप और लड़कियों के समान चलना, बोलना था.
जहां ग़लती होती, परीक्षक अभिनय करकर बताते.
अगला दिन.
ट्रेनर- बी डी एस एम … इसमें तुमको ग्राहक का गुलाम बनने का अभिनय करना है. ग्राहक तुमको तकलीफ़ देगा, पीटेगा आदि और सामूहिक चुदाई की परीक्षा होगी. ग़लती करने पर सज़ा मिलेगी.
आज से 16 परीक्षक होंगे. इनमें 8 पुरुष, 8 स्त्री होंगी. ये सभी आंटी से सीखकर कॉल बॉय/कॉल गर्ल का काम बरसों से कर रहे हैं.
फिर 16 परीक्षक हॉल में आए.
उन्होंने आठों सीखने वालों से कहा- तुम लोग हमारे गुलाम हो. सबके हाथों में बेल्ट या छड़ी थी.
हमसे कहा गया कि सब अपने कपड़े उतारो, गले में टेबल पर रखे बेल्ट, जिसमें रस्सी लगी थी, अपने गले में पहनो … और मुँह पर गॅग लगा लो. सभी ने कपड़े उतारकर बेल्ट पहन लिए और मुँह पर गॅग लगा लिए.
छत पर लगे 8 हुकों से 8 रस्सी लटक रही थीं. सभी के हाथ ऊपर करकर रस्सियों से बांध दिए गए. उन 16 परीक्षकों ने काम शुरू कर दिया.
वो हम सभी आठ बंधे लड़के, लड़कियों के शरीर, चूचे, चूत, लंड, गांड पर हाथ फेरने और दबाने लगे.
वो कहने लगे- माल तो अच्छा है.
हम सब खुश हो गए.
परीक्षक- अब तुम लोगों की पिटाई होगी, आशा है तुमको मज़ा आएगा. पिटाई में मज़ा आने पर हर मार के साथ हां में सिर हिलाना है. जिसको मज़ा नहीं आए, वो नहीं में सिर हिलाएगा. जिसको मज़ा नहीं आ रहा, उसकी तब तक पिटाई होगी, जब तक उसे मज़ा न आने लगे.
सब समझ गए कि हां में सिर हिलाना ही पड़ेगा.
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कॉलबॉय कॉलगर्ल बनने का ट्रेनिंग सेंटर- 3
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