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मैंने कहा- तुम मुझे अपना भाई बोलती हो, फिर भी अभय ने मुझ पर शक | Savita Bhabhi HINDI story..

मैंने कहा- तुम मुझे अपना भाई बोलती हो, फिर भी अभय ने मुझ पर शक किया … ये मुझे बहुत बुरा लगा यार!
समीक्षा ने कहा- कोई बात नहीं भैया, सब ठीक हो जाएगा.

इसी तरह बात चलती रही और मैंने समीक्षा से नजदीकियां बढ़ानी शुरू कर दीं.

अब मैं कभी कभी जानबूझ कर उससे मिलने जाने लगा. उसे घुमाने ले जाने लगा.
उधर अभय की समीक्षा से दूरी बढ़ने लगी, जो मेरे लिए लाभदायक होने लगी.

हालांकि अभी भी समीक्षा मुझे भैया ही बोलती थी, लेकिन कहीं न कहीं मुझे पसंद करने लगी थी क्योंकि भैया तो सिर्फ मुँह बोला ही था न.

अब वो मुझे छूने भी लगी थी. मेरा हाथ पकड़ कर चलने लगी थी. कभी कभी गले मिलने के बहाने मुझसे चिपकने भी लगी थी.

जब मैं उससे ये कहता, तो बोलती कि भैया अपन दोनों हैं तो किसी भी तरह चलें. किसी की क्या परवाह!
मैंने कहा- हां … हम दोनों है ही ऐसे, लोगों की सोच का क्या करें.

इसी तरह मेरे दोस्त के रूखे रवैये के चलते मेरी उसकी गर्लफ्रेंड से नजदीकियां बढ़ती जा रही थीं.
अब वो मिलने पर मेरे गाल किस भी करने लगी थी.

मैंने भी इस बात का फायदा उठाया और उसके गालों पर किस करना शुरू कर दिया था, मेरी चुम्मी से वो खुश हो जाती थी.

फिर एक समय ऐसा आया, जब हम दोनों फ़िल्म देखने शहर गए थे.

उस दिन फ़िल्म के अलावा हम दोनों का बहुत सारा घूमना भी हुआ. इस सबके बीच में अभय के बहुत बार फ़ोन आते थे, लेकिन समीक्षा उसे कुछ न कुछ बहाना करके टाल देती थी.
अभय भी उस पर ध्यान नहीं देता था.

उस दिन फिल्म देखने और घूमने के बाद समीक्षा ने कहा- यार, मैं तो बहुत थक गई हूँ. मुझे थोड़ी देर आराम करना है.

मैंने उसकी इस बात को सुना तो मेरे दिल के अरमान जाग गए.
मैं खुद चाहता था कि ऐसा मौका कब मिले और मैं उसको अपने अन्तरंग भाव से मिला सकूँ.

मैंने उससे कहा- अपना ठिकाना तो यहां से दूर है. लेकिन यहां पर मेरे दोस्त का एक फ्लैट है. थोड़ी देर आराम करने के लिए उसके फ्लैट में जा सकते हैं.
शायद समीक्षा भी यही चाहती थी कि मौका मिल जाये और हम दोनों चुदाई कर लें.
उसने चहकते हुए हामी भर दी.

मैंने अपने दोस्त से बात की, तो उसने हां कह दी.
हम दोनों मेरे दोस्त के फ्लैट पर आ गए.

मैंने समीक्षा को फ्लैट के ड्राइंगरूम में सोफे पर बिठाया और दोस्त को एक तरफ ले जाकर कहा कि भाई बंदी थोड़ी देर के लिए घूम कर आज मूड में आ गई है.

वो समझ गया कि मूड का मतलब क्या है. वो हंस कर बोला- कमीने थोड़ा खर्च पानी कर ले और फिर मजे ले ले.
मैंने उसको पांच सौ का नोट दिया और उससे कहा- चल जा शाम को एक हाफ लेकर मस्ती कर लेना.

वो फ्लैट में हम दोनों को छोड़ कर चला गया.

उसके जाने के बाद मैं समीक्षा के पास जाकर बैठ गया.

मैंने कहा- कुछ देर बैठ लेते हैं, फिर चलते हैं.
समीक्षा ने कहा- अरे यार मुझे यहां सोफे पर नहीं, बेड पर आराम करना है.

मैंने ओके कहा और अन्दर बेडरूम में ले जाकर समीक्षा को बेड दिखाकर बोला- तुम इधर रेस्ट करो, मैं अभी आता हूं.
समीक्षा बोली- तुम किधर जा रहे हो, रुको ना मेरे पास.

अब तो मैं यह पक्का समझ गया था कि समीक्षा का पूरा मूड बना हुआ है. बस फिर क्या था, मैं उसके पास बैठ गया. उसने मेरा हाथ पकड़ा और खींच लिया.

वो मुझे अपने पास में लेटा कर बोली- भैया क्या तुम नहीं थके हो?
मैंने कहा- हां थक तो गया हूँ.
उसने कहा- तो फिर तुम भी मेरे पास लेट जाओ न.

थोड़ी देर लेटने के बाद समीक्षा ने आंखें बंद कर लीं.

मैं उसकी तरफ मुँह करके उसे देखने लगा. फिर अनजान बनते हुए मैंने उसकी कमर के ऊपर हाथ रख लिया.

समीक्षा सोने का नाटक कर रही थी. मैंने उसकी कमर पर हाथ रखा, तो वो मेरी तरफ घूम गयी और मेरे ऊपर हाथ डाल कर मेरी तरफ खिसक गई.

अब मैं और समीक्षा बिल्कुल चिपक से गए थे. हम दोनों की सांसें टकरा रही थीं.

मैंने थोड़ा और जोर देकर उसको अपने करीब खींच लिया. उसके चूचे मुझे छू रहे थे.

मैंने उसके माथे को मेरे होंठों से धीरे से छू लिया. इससे उसने मुझे और कसके पकड़ लिया. उसके होंठों पर हल्की सी मुस्कान आ गयी.

समीक्षा की आंखें बंद हो गई थीं. मैंने उसके चेहरे को थोड़ा सा ऊपर उठाया और उसके कोमल से होंठों को धीरे से अपने होंठों से छुआ. उसने जरा सी भी हरकत नहीं की.

हम दोनों की सांसें बदस्तूर टकरा रही थीं. मैंने थोड़ा और जोर से होंठों पर दबाव डाला, तो समीक्षा ने अपने होंठ खोल दिए और मेरा साथ देने लगी.

बस अब क्या था, हम दोनों एक दूसरे को किस करने लगे.
मैंने अपना एक पैर समीक्षा के पैरों के बीच में डाल दिया.

कुछ देर बाद मैंने अपने कपड़े उतार दिए. और धीरे धीरे उसके बदन को किस करने लगा. उसकी गर्दन, कमर और साथ में उसके मम्मों को अपने चेहरे से दबाते हुए मजा लेने लगा.

फिर मैंने एक एक करके उसके सारे कपड़े उतार दिए. वो मेरे सामने एकदम नंगी हो गई थी.
मैंने उसकी चिकनी चूत देखी तो समझ गया कि बंदी आज आने से पहले ही मेरे लंड से चुदने का मूड बना कर आई थी.